भारत मौसम विज्ञान केंद्र (IMD) के अनुसार आज देश के विभिन्न हिस्सों में भारी से अत्यधिक भारी वर्षा, आंधी, और तेज हवाओं की चेतावनी जारी की है। दक्षिण-पश्चिम मानसून की प्रगति और मौसम प्रणालियों के प्रभाव से कई क्षेत्रों में मौसम की गतिविधियां तीव्र रहेंगी।
30 मई को लेकर IMD का मौसम पूर्वानुमान
पूर्वोत्तर भारत और पश्चिम बंगाल:
मेघालय में आज कुछ स्थानों पर असाधारण रूप से भारी वर्षा (>30 सेमी) की संभावना है।
अरुणाचल प्रदेश, असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम, और त्रिपुरा में अत्यधिक भारी वर्षा होने की चेतावनी।
उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम में भारी से बहुत भारी वर्षा की संभावना।
आंधी, बिजली, और 40-50 किमी/घंटा की रफ्तार से तेज हवाएं संभावित।
दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत:
केरल, माहे, तमिलनाडु, पुडुचेरी, कराईकल, तटीय कर्नाटक, और दक्षिण आंतरिक कर्नाटक में अत्यधिक भारी वर्षा की संभावना।
तेलंगाना और दक्षिण आंतरिक कर्नाटक में भारी वर्षा का अनुमान।
आंधी, बिजली, और 40-50 किमी/घंटा की गति से तेज हवाएं चल सकती हैं।
पूर्वी और मध्य भारत:
पश्चिम बंगाल के गंगा के मैदानी इलाकों, ओडिशा, और बिहार में भारी वर्षा की संभावना।
छत्तीसगढ़ और पूर्वी मध्य प्रदेश में 50-60 किमी/घंटा की रफ्तार से तेज हवाएं चल सकती हैं।
आंधी और बिजली का भी खतरा।
उत्तर-पश्चिम भारत:
जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान, मुजफ्फराबाद, और उत्तराखंड में भारी वर्षा की संभावना।
पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली, और राजस्थान में आंधी, बिजली, और 50-60 किमी/घंटा की गति से तेज हवाएं।
पश्चिमी राजस्थान में कुछ स्थानों पर धूल भरी आंधी और गर्म हवाएं (लू) चलने की चेतावनी।
मानसून की प्रगति:
दक्षिण-पश्चिम मानसून पश्चिम बंगाल और बिहार के कुछ और हिस्सों में आज और कल आगे बढ़ने के लिए अनुकूल परिस्थितियां बनी हुई हैं।
तापमान और लू:
उत्तर-पश्चिम भारत में अधिकतम तापमान में कोई बड़ा बदलाव नहीं, लेकिन अगले तीन दिनों में 2-4°C की गिरावट संभावित।मध्य भारत में तापमान में 2-3°C की वृद्धि, फिर स्थिरता। पश्चिमी राजस्थान में लू की स्थिति बनी रहेगी।
मछुआरों के लिए चेतावनी:
बंगाल की खाड़ी और तटीय क्षेत्रों में मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह दी गई है। विस्तृत जानकारी के लिए IMD की वेबसाइट पर भी जा सकते हैं।
सावधानी और सुझाव:
प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले लोग बाढ़, भूस्खलन, और तेज हवाओं के प्रति सतर्क रहें।स्थानीय प्रशासन और मौसम विभाग की चेतावनियों का पालन करें। अधिक जानकारी के लिए भारत मौसम विज्ञान केंद्र की वेबसाइट या अनुलग्नक देखें।